"थक गया हूँ तेरी नौकरी से ऐ जिन्दगी, मुनासिब होगा मेरा हिसाब कर दे...!!" दोस्तों से बिछड़ कर यह हकीकत खुली... बेशक, कमीने थे पर रौनक उन्ही से थी!! भरी जेब ने ' दुनिया ' की पहेचान करवाई और खाली जेब ने ' इन्सानो ' की. जब लगे पैसा कमाने, तो समझ आया, शौक तो मां-बाप के पैसों से पुरे होते थे, अपने पैसों से तो सिर्फ जरूरतें पुरी होती है। कुछ सही तो कुछ खराब कहते हैं, लोग हमें बिगड़ा हुआ नवाब कहते हैं, हम तो बदनाम हुए कुछ इस कदर, की पानी भी पियें तो लोग शराब कहते हैं...!!! माचिस की ज़रूरत यहाँ नहीं पड़ती, यहाँ आदमी आदमी से जलता है.. दुनिया के बड़े से बड़े साइंटिस्ट ये ढूँढ रहे है की मंगल ग्रह पर जीवन है या नहीं पर आदमी ये नहीं ढूँढ रहा कि जीवन में मंगल है या नही.. ज़िन्दगी में ना ज़ाने कौनसी बात "आख़री" होगी, ना ज़ाने कौनसी रात "आख़री" होगी.. मिलते, जुलते, बातें करते रहो यार एक दूसरे से, ना जाने कौनसी "मुलाक़ात" आख़री होगी.. अगर जींदगी मे कुछ पाना हो तो तरीके बदलो, ईरादे नही.. ग़ालिब ने खूब कहा है..: ऐ चाँद तू किस ...
Boost your online visibility with Pune’s leading SEO specialist. Expert in driving organic traffic, higher rankings, and measurable digital growth.